कन्नौज हादसा: बस-ट्रक की भिड़ंत में 35 यात्री जिंदा जले, प्रधानमंत्री ने जताया दुख

सुरेश चंद्र मिश्रा

कन्नौज। उत्तर प्रदेश के कन्नौज-मैनपुरी जनपद की सीमा पर शुक्रवार की रात एक ट्रक और डबल डेकर टूरिस्ट बस की टक्कर के बाद दोनों  वाहनों में आग लग गई। इस दुर्घटना में 35 लोग जिंदा जल गए। पुलिस और दमकल की गाड़ियों ने बहुत देर बाद आग पर काबू पाया, तब तक जान-माल की बहुत बड़ी क्षति हो चुकी थी। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मृतक के परिवार को दो लाख और घायलों को 50 हजार रुपये की आर्थिक मदद देने की घोषणा की है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने हादसे पर गहरा दुख व्यक्त किया है।

प्रधानमंत्री मोदी ने अपनी शोक संवेदना में कहा है, “उत्तर प्रदेश के कन्नौज में हुए भीषण सड़क हादसे के बारे में जानकर अत्यंत दुख पहुंचा है। इस दुर्घटना में कई लोगों को जान गंवानी पड़ी है। मैं मृतकों के परिजनों के प्रति अपनी संवेदनाएं प्रकट करता हूं। साथ ही घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना करता हूं।“

हादसे की गंभीरता को देखते हुए रात के अंधेरे में फॉरेंसिक टीम ने सर्च लाइटों के जरिए पूरी तरह से जल चुकी बस की जांच शुरू कर साक्ष्यों के साथ मृतकों की सही संख्या का पता लगाना शुरू कर दिया। फर्रुखाबाद जिले के कादरी गेट, लाल गेट के पास विमल चतुर्वेदी की ‘चतुर्वेदी बस सर्विस’ नाम से टूरिस्ट बसें चलाई जाती हैं। यहां फर्रुखाबाद से दिल्ली, जयपुर व अन्य जगहों के लिए यात्रियों को बस सेवा दी जाती है। शुक्रवार को यहां से जयपुर जाने के लिए मुसाफिरों से भरी डबल डेकर स्लीपर बस रवाना हुई। रास्ते में गुरसहायगंज से 26 व छिबरामऊ से 11 सवारियों को लेकर बस जैसे ही आगे बढ़ी तभी पांच किलोमीटर दूर मैनपुरी जनपद के बेवर सीमा से पूर्व छिबरामऊ विकास खण्ड के ग्राम घिलोई के पास एनएच-91 (जीटी रोड) पर मौत बनकर सामने से आए ट्रक से भीषण टक्कर हो गई। पलक झपकते ही दोनों वाहनों में आग लग गई और चीख पुकार मच गई।

राहगीरों और ग्रामीणों की भीड़ जब तक मौके पर पहुंचती, बस में आग से घिरे कुछ यात्रियों ने जान बचाने के लिए खिड़कियां तोड़कर कूदना शुरू कर दिया। इस बीच आग से बस का डीजल से भरा टैंक तेज धमाके से फट गया और बस पूरी तरह से आग का गोला बन गई। कई महिलाएं, बच्चे व अन्य यात्री उसमें फसकर जिंदा जल गए। भीषण दुर्घटना की जानकारी पर कई थानों की पुलिस ने दमकल के साथ रेस्क्यू ऑपरेशन शुरू किया और 21 लोगों को घायल हालत में अस्पताल पहुंचाया। करीब दो घंटे से अधिक की कड़ी मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया जा सका, लेकिन तब तक कई जिंदगियां आग के शोलों में फंसकर हमेशा हमेशा के लिए खामोश हो चुकी थीं।

भीषण हादसे का संज्ञान सूबे के मुखिया योगी आदित्यनाथ ने तुरन्त लिया और मौके पर अफसरों को भेजकर राहत व बचाव कार्य मे किसी भी प्रकार की कोताही न बरतने के आदेश दिए। जिलाधिकारी रवींद्र कुमार, अपर जिलाधिकारी गजेन्द्र सिंह, पुलिस अधीक्षक अमरेन्द्र पी. सिंह, अपर पुलिस अधीक्षक विनोद कुमार, छिबरामऊ कोतवाली प्रभारी शैलेंद्र कुमार मिश्रा मौके पर पहुंच गये। बस में बड़े हादसे की जानकारी पर देर रात ही कानपुर से मण्डलायुक्त एम बोबडे, आईजी रेंज मोहित अग्रवाल पहुचे और घटना की जांच के साथ ही मृतकों की संख्या का पता लगाना शुरू किया गया। अंदर का भयावह मंजर था। बस की सीटों पर कई जले और अधजले शव मिले। कुछ तो राख हो चुके थे, इससे मृतकों की संख्या स्पष्ट नहीं हो सकी। मौके पर पहुंचे आईजी (कानपुर रेंज) मोहित अग्रवाल ने बताया कि इस हादसे में मरने वालों की संख्या व पहचान टूरिस्ट बस सर्विस के मालिक व कर्मियों के पास टिकट बुकिंग और यात्रा में घायलों से पूछताछ के बाद ही स्पष्ट हो सकेगी। फॉरेंसिक जांच में आठ से नौ शव मिले हैं, जबकि कई बॉडी पूरी तरह से जल गई हैं और उनका पता कर पाना भी मुश्किल है। इसलिए उनका डीएनए टेस्ट करा कर शिनाख्त की जाएगी। घटनास्थल के पास व गुसाहयगंज में दो कंट्रोल रूम बनाए गए हैं, जिनमें बस में सफर करने निकले लोगों के अस्पताल में न मिलने और लापता होने पर जानकारी दे सकते हैं। अस्पताल में 21 लोगों का इलाज चल रहा है और अभी कई ऐसे लोग हैं जिनका कुछ पता नहीं है। जांच के बाद हादसे में मृतकों का सही आंकड़ा पता चल सकेगा।

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